Friday, May 7, 2010

सलाम डाक्टर फैज़ल....

कसाब के फैसले से लेकर संसद में उड़न-छू मुद्दों पर शर्मनाक अलोकतांत्रिक चर्चाओं की सुर्ख़ियों के बीच हिंसाग्रस्त कश्मीर में उम्मीदों का एक दीपक जलने की खबर भी भी देश के रिसालों {अखबारों} में शाया{प्रकाशित}हुई.यह खबर है एक कश्मीरी नौजवान के यू पी एस सी परीक्षा में अव्वल रहने की.....यानी भारतीय प्रशासनिक सेवा का गौरवशाली अंग बनने की.शाह फैज़ल नामक एम् बी बी एस डाक्टर ने यह बेहद मुश्किल इम्तिहां पहले ही प्रयास में पास कर लिया.निश्चित रूप से यह एक राहत भरी खबर है, केवल कश्मीर और वहां के नौजवानों के लिए बल्कि पूरे देश के लिए भी जिसकी नज़रों में कश्मीर का दूसरा नाम ही विवाद ,हिंसा और असंतोष है.डाक्टर फैज़ल की यह कामयाबी तमाचे की चटाक ध्वनि बनकर गूंजती रहेगी उन बेशर्म गालों पर जिनके लिए कश्मीर दुनिया की जन्नत नहीं सियासत का गन्दा नाला बन गया है.उनकी नज़रों में यहाँ की खूबसूरत वादियाँ सिर्फ एके ४७ रायफलों को पनाह दे सकती हैं,कलम और संगीत का जादू अब वहां दफ़न हो चुका हैहै.मगर नहीं...श्रीनगर का लाल चौक आगे से डाक्टर शाह फैज़ल की कामयाबी का गान भी अब पूरी दुनिया को सुनाएगा...बताएगा की कश्मीर में उम्मीद अभी भी जिन्दा है...यह जयघोष होगा "सारे जहाँ से अच्छा हिन्दोस्तां हमारा का".यह उद्घोष होगा की कश्मीर दहशतगर्दों और अलगाव वादियों का दोजख नहीं डाक्टर शाह फैज़ल जैसों की रचनात्मक जन्नत भी है.यह कामयाबी अब एक खबर भी बनेगी उन अमेरिका ,पाकिस्तान जैसे देशों और भारत विरोधी संगठनों के लिए जो कश्मीर के नाम पर अफवाहों के अंतर राष्ट्रीय मार्केट में राजनितिक रोटियां सेंक और बेच रहे हैं,जो संयुक्त राष्ट्र में लगातार दावा कर रहे हैं कश्मीर के लाइलाज हो जाने का,जो जाने कहाँ-कहाँ से धन जुटा रहे हैं कश्मीर के नाम पर,जो लगातार स्यापा कर रहे हैं इस जन्नत में मानवाधिकारों को दफ़न कर दिए जाने का.आशा है फैज़ल नामक उम्मीदों का यह दीपक स्वार्थों के जंगल के घटाटोप को उजियारे में बदल देगा,खामोश कर देगा उन विकृत चीत्कारों को जो जन्नत को दोजख बनाने हर मुमकिन - नामुमकिन कोशिशें कर रहीं हैं.हेट्स ऑफ़ तू यू डाक्टर फैज़ल....एंड थंक्स फ्रॉम ग्रेटफुल नेशन..

1 comment:

  1. Sir aapne jo kaha satya he. Lekin Dr Faizal ji is Bureaucrat ki duniya me naye hai aur jab tak we khud sahi kadam par aage badhate rahenge tabhi tak sab kuch thik hai. Me aasha karti hu ki weh apnaa kartavya thik se nibhaaye aur Kashmir ki chavi jo duniya ke saamne dohri he use mita kar keval khubsurat jannat ke rup me rakh de.

    Sir aap bahut achchha likhte hai, mujhe to sabhi pasand aa rahe hai par tarif ke liye sabd nahi mil rahi hai. Hats off to U Sir.

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